बाराबंकी/लखनऊ (नागेंद्र सिंह चौहान)। सैप प्रकाशन एवं साहित्यकार समिति के संयुक्त तत्वावधान में लोकार्पण समारोह एवं अन्तरराष्ट्रीय अवधी समागम आगामी 25 मई को यूपी प्रेस क्लब, लखनऊ में आयोजित होगा।
जनपद बाराबंकी के सुपरिचित साहित्यकार एवं आयोजन समिति के अध्यक्ष डॉ. विनय दास ने बताया कि यह समागम विशेष रूप से अवधी गद्य के संरक्षण एवं संवर्धन के लिए आयोजित किया जा रहा है। हम अवधी गद्य के अकाल को कम करना चाहते हैं। इसके अलावा हम अवधी भाषा के पाठकों की कमी को दूर करने का भी प्रयास करेंगे।
डॉ दास ने बताया कि इस समारोह में आधुनिक मगर देशज स्त्री विमर्श पर केन्द्रित दीपक सिंह का लघु उपन्यास ‘कजरी तथा अन्य अवधी कहानियां’, पुरा सामाजिक आख्या सतनामी संत जगजीवन दास पर केन्द्रित विनय दास का अवधी उपन्यास ‘संत न मोल बिकाय’ डॉ. ज्ञानवती दीक्षित का ‘दीदी की पाती’ एवं कवि ओपी वर्मा ‘ओम’ के काव्य संग्रह ‘चेतना के स्वर’ का लोकार्पण होगा।
डॉ दास का कहना है कि वर्तमान युग सोशल मीडिया का है। आधुनिक अवधी गद्यकार लोक साहित्य एवं संस्कृति के प्रचार-प्रसार और इसके संरक्षण-संवर्द्धन में जुटे हैं। ऐसे दर्जनों अवधी आराधकों ने राष्ट्रीय/अंतरराष्ट्रीय पहचान बना है।
इस कार्यक्रम के दौरान सैप प्रकाशन एवं साहित्यकार समिति कुल 26 अवधी आराधकों को अंगवस्त्र, अवधी की पांच पुस्तकों का सेट, प्रतीक-चिन्ह देकर सम्मानित करेगी।
उन्होंने बताया कि अवधी समागम की अध्यक्षता प्रो. सूर्य प्रसाद दीक्षित करेंगे। इसमें पद्मश्री विद्या बिन्दु सिंह, डॉ. उमा शंकर शुक्ल ‘शितिकंठ’, डॉ. रामबहादुर मिश्र, डॉ. ज्ञानवती दीक्षित, काठमाण्डू (नेपाल) के विजय वर्मा, कृपाराम वाडिया आदि विशिष्ट अतिथि के रूप में उपस्थित रहेंगे।
ये अवधी लेखक होंगे सम्मानित
डॉ. उमाशंकर शुक्ल ‘शितिकंठ’, डॉ. ज्ञानवती दीक्षित, आद्या प्रसाद सिंह ‘प्रदीप’, डॉ. कैलाश देवी सिंह, सूर्य प्रसाद शर्मा ‘निशिहर’, डॉ. रमेश मंगल बाजपेयी, डॉ. शैलेन्द्र श्रीवास्तव, डॉ. सुशील कुमार राय, डॉ. अनामिका श्रीवास्तव, अनीस देहाती, डॉ. अशोक ‘अज्ञानी’, डॉ. अर्जुन पाण्डेय, डॉ. रश्मिशील, प्रदीप तिवारी ‘धवल’, रमाकान्त तिवारी ‘रामिल’, अरुण कुमार तिवारी, अजय साहू, नागेन्द्र बहादुर सिंह चौहान, प्रदीप कुमार शुक्ल, डॉ. गुणशेखर शर्मा, भूपेन्द्र दीक्षित, शेषमणि शुक्ल, नूतन वशिष्ठ, सुधा द्विवेदी, विजय वर्मा ‘नेपाल’ एवं विनोद मिश्र।