कुलाधिपति के निर्देशों के आलोक में कार्रवाई शुरू
दरभंगा (प्रभाकर झा)। तीन दिन पहले कुलाधिपति द्वारा संस्कृत विश्वविद्यालय में आयोजित सीनेट की अध्य्क्षता करते हुए दिए गए निर्देशों के आलोक में कार्रवाई शुरू कर दी गयी है। प्रशासकीय व शैक्षणिक व्यवस्था मजबूत करने के लिए विश्वविद्यालय प्रशासन ने सात बिन्दुओं पर आदेश जारी किया है।
आदेश में स्पष्ट कहा गया है कि प्रधानाचार्य व विभागाध्यक्ष सभी शिक्षकों व छात्रों की उपस्थिति सुनिश्चित करेंगे। विश्वविद्यालय मुख्यालय, स्नातकोत्तर विभागों तथा महाविद्यालयों में सभी की उपस्थिति बायोमेट्रिक बनेगी। इसके अलावा कहा गया है कि सेवानिवृत्त होनेवाले कर्मियों का पेंशन विपत्र करीब तीन माह पूर्व ही कुलसचिव कार्यालय में जमा करना होगा। वहीं कार्यालय सभी विभागीय औपचारिकताओं को पूरा कर सेवांत लाभ सम्बन्धी कागजात तैयार करेगा, ताकि सेवानिवृत्ति के दिन ही सभी अभिलेख हस्तगत करा दिए जाएं। विभागाध्यक्ष व प्रधानाचार्य अपने सहकर्मियों के साथ मिलकर अभिभावकों व छात्रों को संस्कृत में अध्ययन के प्रति आकर्षित करने का कार्य करेंगे। इसी के साथ यह भी आदेश हुआ है कि डीएसडब्ल्यू यथाशीघ्र नामांकन समिति की बैठक कर लंबित नामांकन व परीक्षाओं की प्रक्रिया शुरू करने का प्रस्ताव देंगे ताकि सत्र नियमितीकरण किया जा सके। वहीं पेंशन सेल के नोडल पदाधिकारी नियमित रूप से बैठक करेंगे।
उक्त जानकारी देते हुए पीआरओ निशिकांत ने बताया कि कोई भी प्रधानाचार्य, शिक्षक, विभागाध्यक्ष बिना सक्षम अनुमति के विश्वविद्यालय नहीं आएंगे। प्रभारी कुलसचिव डॉ. दीनानाथ साह ने इस आशय का कार्यालय आदेश जारी किया है।