दरभंगा (निशांत झा) : भारत का चुनाव आयोग एक संवैधानिक संस्था है, जिसके ऊपर किसी भी प्रकार की टिप्पणी करना लोकतांत्रिक मर्यादा के विपरित है। बिहार के नेता प्रतिपक्ष सह राजद नेता तेजस्वी यादव के द्वारा चुनाव आयोग को कैंसर बताकर लोकतन्त्र का अपमान किया गया है, जिसके लिए राजद नेता को माफी मांगनी चाहिए।
दरभंगा के भाजपा सांसद सह लोकसभा में पार्टी के सचेतक डॉ. गोपालजी ठाकुर ने पूर्व उपमुख्यमंत्री तेजस्वी के बयानों को संवैधानिक मर्यादा के विपरीत बताते हुए कहा कि जिस चुनाव आयोग के द्वारा उनके माता-पिता और भाई-बहन सांसद-विधायक सहित अन्य पदों के लिए निर्वाचित होते आए हैं, उसपर टिप्पणी उनकी ओछी मानसिकता तथा मूर्खता का परिचायक है।
सांसद डॉ. ठाकुर ने तेजस्वी यादव के बयान को बिहारी अस्मिता के नाम पर एक कलंक बताते हुए कहा कि जिस बिहार की धरती से लोकतन्त्र की अवधारणा विकसित हुई, उस बिहार के एक पूर्व उपमुख्यमंत्री के मुंह से इस तरह की टिप्पणी से बिहार की 11 करोड़ जनता की भावना आहत हुई है, जिसके लिए तेजस्वी को माफी मांगनी चाहिए। डॉ. ठाकुर ने लालू प्रसाद यादव तथा उनके परिजनों को बिहार के लिए एक बोझ बताते हुए कहा कि जिस राजनेता के पिता-मां, भाई-बहन सहित सारा परिवार आज भी चारा घोटाले, लैंड फॉर जॉब, आय से अधिक धन अर्जन जैसे मामलों में सजायाफ्ता तथा चार्जशीटेड हो, वैसे लोगों के द्वारा चुनाव आयोग जैसी पवित्र संस्था पर टिप्पणी करना उनकी मानसिक दिवालियेपन को दर्शाता है।